Bimal Mitra
बिमल मित्र
बांग्ला के प्रमुख कथाकार बिमल मित्र (1912-1991) ने सौ से अधिक उपन्यास लिखे हैं। वे अत्यन्त लोकप्रिय कथाकार थे। उनकी कई कृतियों पर सफल फ़िल्मों का निर्माण हुआ है। भारतीय रेल सेवा से 1950 में 38 वर्ष की आयु में ही इस्तीफ़ा दे कर वे पूर्णकालिक लेखक बन गये। वे एक सरल, ग़ैरसमझौतावादी, आधुनिक और लड़ाकू व्यक्ति थे। बिमल मित्र को रवीन्द्र पुरस्कार, शरत स्मृति पुरस्कार, साहित्य अकादेमी पुरस्कार आदि अनेक पुरस्कार तथा सम्मान मिले थे। उनकी कुछ बहुचर्चित कृतियाँ हैं- साहब-बीवी-गुलाम, ख़रीदी कौड़ियों के मोल, मरियम बेगम विश्वास, एकक दशक शतक, आसामी हाज़िर।